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बहू ने उतारा परिवार के पांच लोगों को मौत के घाट

ByMukesh Kumar Kashyap

Oct 5, 2024

20 दिन में एक ही परिवार के 5 लोगों की मौत… बची सिर्फ बहू, जिसे समझ रहे थे अनहोनी, उसका सच जान उड़ गए होश
जिस परिवार में वो बहू बनकर आई, उसने उसी परिवार के पांच लोगों की बेरहमी से जान ले ली। वजह थी पति की मारपीट और सास ससुर के ताने। हत्याकांड में उसकी मामी ने भी साथ दिया। मामी को परिवार की प्रॉपर्टी चाहिए थी। पांच लोगों के कत्ल की इस वारदात ने पूरे महाराष्ट्र को हिलाकर रख दिया था। 20 दिनों के भीतर हुई थी 5 लोगों की हत्या, बहू ने खाने में थैलियम मिलाकर दी मौत क्राइम में सगी मामी ने भी दिया पूरा साथ,

नरक की जिंदगी जी रही है.संघमित्रा को अपनी मामी में इतना अपनापन दिखा कि उसने गुस्से में रोजा से कह दिया, ‘मेरा बस चले तो ससुराल के सारे लोगों को मार डालूं’। रोजा की एक अलग कहानी थी। प्रॉपर्टी के बंटवारे को लेकर रोजा और संघमित्रा की सास विजया का लंबे वक्त से विवाद चल रहा था। दरअसल, विजया की तीन बहनें और एक भाई था। रोजा इसी भाई की पत्नी थी और पड़ोस में ही रहती थी।

रोजा हड़पना चाहती थी प्रॉपर्टी
विजया के पिता के पास 4 एकड़ जमीन थी और वो चाहती थी कि प्रॉपर्टी का बंटवारा पांचों भाई-बहनों में बराबर-बराबर हो। जबकि, रोजा इसके खिलाफ थी। उसका कहना था कि सारी प्रॉपर्टी परिवार के बेटे यानी उसके पति को मिले। जब उसने संघमित्रा को विजया के परिवार के खिलाफ देखा, तो मौके का फायदा उठाने के लिए एक प्लान बनाया। वो हर दिन संघमित्रा को उसके ससुराल के खिलाफ भड़काने लगी।ससुराल से तंग संघमित्रा ने एक बार अपनी जान देने की भी कोशिश की, लेकिन रोजा ने उससे कहा कि खुद को सजा देने के बजाय, इन लोगों को खत्म करे। रोजा ने इस काम में उसकी मदद करने का भी भरोसा दिया। अब संघमित्रा और रोजा ने कत्ल करने के तरीके खोजने के लिए इंटरनेट पर सर्च करना शुरू कर दिया। सबसे पहले संघमित्रा ने धतूरा मंगवाया, लेकिन इसे पानी या खाने में मिलाने से उसका रंग हरा हो जाता था, इसलिए उसने ये आइडिया छोड़ दिया।

थैलियम देकर सुला दिया मौत की नींद
इसके बाद संघमित्रा को थैलियम के बारे में पता चला, जिससे इंसान की मौत तड़प-तड़पकर होती है। उसने रोजा को अपने आइडिया के बारे में बताया और एक दिन पड़ोस के राज्य तेलंगाना से थैलियम मंगा लिया। सबसे पहले उसने नॉनवेज खाने में थैलियम मिलाकर अपने सास-ससुर को खिलाया। 20 सिंतबर को दोनों की तबीयत बिगड़ी। इसके बाद 26 सितंबर को शंकर और 27 सितंबर को उनकी पत्नी विजया ने दम तोड़ दिया।इसके बाद बारी थी रोशन और कोमल की। अपने पति को संघमित्रा ने दाल के अंदर थैलियम मिलाकर दिया, जबकि कोमल को दूसरे खाने में मिलाकर। विजया की तीनों बहनों में से एक थी उषा। इसे खाने में थैलियम मिलाकर संघमित्रा की मामी रोजा ने खिलाया। 8, 14 और 15 अक्टूबर को इन तीनों की भी मौत हो गई। सबकुछ संघमित्रा और रोजा के प्लान के मुताबिक चल रहा था, लेकिन फिर मामले में नया मोड़ आया।

कैसे खुला कत्ल का राज
दरअसल, जिस हॉस्पिटल में इन पांचों की मौत हुई, उसके मेडिकल ऑफिसर को कुछ शक हुआ। शक था पांचों को जहर दिए जाने का। इस मेडिकल ऑफिसर ने मामले की खबर गढ़चिरौली पुलिस को दी और संघमित्रा को हिरासत में ले लिया गया। शुरुआत में संघमित्रा ने इस हत्याकांड में अपना हाथ होने से इनकार किया, लेकिन सख्ती करने पर वो टूट गई।संगीता ने अपना गुनाह कबूल कर लिया और साथ ही रोजा के बारे में भी पुलिस को बता दिया। पुलिस के मुताबिक, संघमित्रा और रोजा ने परिवार के ड्राइवर सहित तीन अन्य लोगों को भी खाने में थैलियम मिलाकर दिया था। किस्मत से ये तीनों बच गए। पुलिस ने संघमित्रा और रोजा के ऊपर संबंधित धारों में केस दर्ज कर दोनों को जेल भेज दिया।

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